हिमाचल कैबिनेट बैठक एसएमसी शिक्षकों और जलवाहकों का मानदेय बढ़ाया
हिमाचल कैबिनेट बैठक: राज्य चयन आयोग बनेगा, 1383 पद भरेगी सरकार, एसएमसी शिक्षकों और जलवाहकों का मानदेय बढ़ाया
सालों तक नहीं लटकेगी तक्सीम, दुरूस्ती, इंद्राज और अपीलें
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राज्य मंत्रिमंडल ने हिमाचल प्रदेश कर्मचारी चयन आयोग हमीरपुर के स्थान पर राज्य चयन आयोग की स्थापना का फैसला लिया है। राज्य चयन आयोग सरकारी विभागों, सार्वजनिक उपक्रमों, बोर्डों, निगमों, स्थानीय निकायों में ग्रुप सी के विभिन्न पद भरने के लिए भर्ती परीक्षा करवाएगा। गुरुवार को प्रदेश सचिवालय में मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू की अध्यक्षता में हुई मंत्रिमंडल की बैठक में इस प्रस्ताव को मंजूरी देते हुए विधानसभा के मानसून सत्र में लाने का फैसला लिया गया। इसके अलावा आपदा के बीच सरकार विभिन्न महकमों में 1383 पद भरेगी।
मुख्यमंत्री लघु दुकानदार कल्याण योजना को मंजूरी
मुख्यमंत्री लघु दुकानदार कल्याण योजना के तहत 40 करोड़ रुपये के ऋण देने को भी मंजूरी दी गई। इस योजना से लघु उद्यमियों और कौशल आधारित श्रमिकों जैसे शू-मेकर, दर्जी, बार्बर, मोबाइल रिपेयरिंग विक्रेता, सब्जी एवं फल विक्रेताओं को व्यवसाय के लिए ऋण प्राप्त करने के बेहतर अवसर उपलब्ध होंगे।
विधानसभा सत्र में आएगा भूमि राजस्व संशोधन विधेयक
मंत्रिमंडल ने 70 वर्ष पुराने भू-राजस्व विधेयक को भी संशोधित करने का निर्णय लिया है। लोगों को लाभ देने के उद्देश्य से राजस्व न्यायालय मामलों के लंबित निर्णयों के मुद्दों का समाधान करने और तकसीम, दुरुस्ती, इंद्राज, अपील और निशानदेही इत्यादि विभिन्न राजस्व कार्यों को सुव्यवस्थित करने के लिए विधानसभा के मानसून सत्र में हिमाचल प्रदेश भू-राजस्व (संशोधन) विधेयक-2023 लाया जाएगा। न्यायालयों में लंबित कर वसूली के मामलों के निपटारे के लिए 1 अक्तूबर से 31 दिसंबर 2023 तक हिमाचल प्रदेश सद्भावना विरासत मामले समाधान योजना 2023 के तीसरे चरण को शुरू करने का निर्णय लिया गया।
एसएमसी शिक्षकों व अंशकालिक जलवाहकों का मानदेय बढ़ाया
बैठक में एसएमसी शिक्षकों के मानदेय को 1 अप्रैल 2023 से 2,000 रुपये प्रतिमाह बढ़ाने का फैसला लिया गया। इस निर्णय से 2,115 शिक्षक लाभान्वित होंगे। शिक्षा विभाग में कार्यरत अंशकालिक जलवाहकों के मानदेय को 1 अप्रैल 2023 से 3900 रुपये से बढ़ाकर 4400 रुपये प्रतिमाह करने का निर्णय लिया गया। इससे 283 जलवाहकों को लाभ मिलेगा। मंत्रिमंडल ने जनजातीय क्षेत्र नियम 1995 के लिए किसी एक विशेष योजना के लिए बीजक बजट में व्यय की अधिकतम सीमा को एक लाख रुपये से बढ़ाकर तीन लाख रुपये करने का भी निर्णय लिया।
पुलिस कांस्टेबलों के 1226 पद भरने की मंजूरी
राज्य मंत्रिमंडल ने पुलिस विभाग में कांस्टेबल के 1226 पद भरने का निर्णय लिया। इनमें 877 पुरुष कांस्टेबल, 292 महिला कांस्टेबल व 57 कांस्टेबल चालक शामिल हैं। अवैध खनन से संबंधित गतिविधियों पर रोक लगाने के दृष्टिगत उद्योग विभाग में खनन निरीक्षक के 12 पद, सहायक खनन निरीक्षक के 24 पद और खनन रक्षक के 38 पद भरने का भी निर्णय हुआ। उद्यान विभाग में बागवानी प्रसार अधिकारी के 50 पद भरने का भी निर्णय लिया गया।
ये पद भी भरे जाएंगे
इसके अतिरिक्त आर्थिक एवं सांख्यिकी विभाग में सांख्यिकी सहायक के 10 पद भरने को भी स्वीकृति दी गई। मंत्रिमंडल ने लोगों को विशेषज्ञ स्वास्थ्य सेवाएं उपलब्ध करवाने के दृष्टिगत डॉ. राधाकृष्णन राजकीय आयुर्विज्ञान महाविद्यालय हमीरपुर में विभिन्न विभागों में सह-आचार्य एवं सहायक आचार्य के आठ पद सृजित कर भरने व इंदिरा गांधी राजकीय आयुर्विज्ञान महाविद्यालय शिमला में सहायक आचार्य का एक पद भरने का निर्णय लिया। मंत्रिमंडल ने ऊना जिला की टाहलीवाल पुलिस चौकी को स्तरोन्नत कर पुलिस थाना बनाने तथा यहां विभिन्न श्रेणियों के 14 पद सृजित कर भरने को भी स्वीकृति प्रदान की।
सालों तक नहीं लटकेगी तक्सीम, दुरूस्ती, इंद्राज और अपीलें
प्रदेश सरकार ने प्रदेश के लोगों के राहत देने के लिए राजस्व मामले निपटाने के लिए समय सीमा तय करने का फैसला लिया है। मौजूदा समय में तक्सीम, दुरूस्ती, इंद्राज और अपील के हजारों मामले राजस्व न्यायालयों में लंबित हैं। राजस्व मामलों का समयबद्ध निपटारा करने के लिए भू-राजस्व संशोधन विधेयक लाया जाएगा। प्रदेश में सालों से तक्सीम, पैमाइश और दुरुस्ती के मामले लटके हुए हैं। समय पर दुरुस्ती, तक्सीम और पैमाइश न होने के कारण लोगों को कई वर्षो तक इंतजार करना पड़ रहा है। अदालतों और राजस्व महकमों में जमीनी मामले से जुड़े केस लटके हुए हैं। सरकार ने फास्ट ट्रैक कोर्ट की तर्ज पर राजस्व मामलों के निपटारे के लिए समय सीमा तय करने का फैसला लिया है। गुरुवार को मंत्रिमंडल की बैठक में निर्णय लिया गया कि महीने में दो दिन ऐसे तय किए जाएंगे जिस दिन तक्सीम, दुरूस्ती, इंद्राज और अपील के मामले ही निपटाए जाएंगे। इसके लिए उपायुक्तों, एसडीएम और तहसीलदारों को विशेष शक्तियां दी जाएंगी।